मुंबई: महाराष्ट्र में औरंगज़ेब की कब्र (Tomb of Aurangzeb) को हटाने की चर्चाओं के बीच अब इस मुद्दे पर सियासी हलचल तेज़ हो गई है। इस बीच, केंद्रीय मंत्री रामदास आठवले ने अपने बयान में कहा कि औरंगज़ेब की कब्र को हटाने की कोई ज़रूरत नहीं है और इसे जैसे है, वैसे ही रहने देना चाहिए।
रामदास आठवले ने कहा, “औरंगज़ेब की कब्र को हटाने की क्या जरूरत है? जैसे है वैसे रहने दो, इसमें कोई दिक्कत नहीं है।” उनके इस बयान के बाद राजनीतिक हलकों में इस मुद्दे को लेकर चर्चाएं और तेज़ हो गई हैं।
क्या है पूरा मामला?
महाराष्ट्र में औरंगज़ेब की कब्र को लेकर लंबे समय से विवाद चलता आ रहा है। कुछ संगठनों और राजनीतिक दलों का मानना है कि इस कब्र को हटाया जाना चाहिए, जबकि कई लोग इसे ऐतिहासिक धरोहर मानते हैं और इसे बनाए रखने की वकालत कर रहे हैं।
हाल ही में कुछ समूहों ने सरकार से मांग की थी कि औरंगज़ेब की कब्र को हटाया जाए क्योंकि उसका नाम इतिहास में विवादित शासकों में गिना जाता है। वहीं, दूसरी ओर, कुछ नेता इसे अनावश्यक मुद्दा बताते हुए इसे छेड़ने के पक्ष में नहीं हैं।
सियासत तेज़, क्या होगा अगला कदम?
इस बयान के बाद अब राज्य सरकार और प्रशासन की प्रतिक्रिया पर सभी की निगाहें टिकी हैं। महाराष्ट्र सरकार इस पर क्या निर्णय लेगी, यह अभी साफ नहीं है, लेकिन राजनीतिक दलों के बीच इस मुद्दे को लेकर बयानबाज़ी जारी रहने की संभावना है।
वहीं, इतिहासकारों का मानना है कि ऐतिहासिक स्थलों को संरक्षित रखा जाना चाहिए, ताकि आने वाली पीढ़ियों को इतिहास से अवगत कराया जा सके। हालांकि, इस मामले में सरकार क्या कदम उठाएगी, यह देखने वाली बात होगी।
Amravati Airport: अमरावती एयरपोर्ट को DGCA से मिला एरोड्रोम लाइसेंस, हवाई सेवाएं जल्द शुरू होंगी