माराठा आरक्षण कार्यकर्ता मनोज जरंगे ने महाराष्ट्र सरकार पर वादे न निभाने का आरोप लगाते हुए 29 अगस्त को मुंबई में नई भूख हड़ताल की चेतावनी दी। उन्होंने माराठा समुदाय को संगठित होकर लड़ने का आह्वान किया।
जालना, 29 जुलाई: जालना से माराठा आरक्षण कार्यकर्ता मनोज जरंगे ने महाराष्ट्र सरकार पर माराठा समुदाय के प्रति किए गए वादों को पूरा न करने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि सरकार ने माराठा समाज को धोखा दिया है और 29 अगस्त को मुंबई में नई भूख हड़ताल शुरू करेंगे। जरंगे ने कहा कि पिछले दो वर्षों से समुदाय ने धैर्य रखा है, लेकिन अब समय आ गया है कि वे अपने अधिकारों के लिए संगठित होकर लड़ें। उन्होंने सभी माराठाओं से अपनी खेती-किसानी के कामों को दो महीने में पूरा कर मुंबई की ओर मार्च की तैयारी करने का आह्वान किया।
⚖️ आरोप और मांगें:
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सरकार ने कुंभी प्रमाणपत्र और माराठा आरक्षण पर वादा किया था, लेकिन कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई।
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58 लाख से अधिक दस्तावेज़ सरकार के पास जमा हैं जो “कुंभी = माराठा” को साबित करते हैं, फिर भी प्रमाणपत्र जारी नहीं किए गए।
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शिंदे समिति ने प्रमाण खोजे, लेकिन उन्हें नजरअंदाज किया गया।
🧨 जरंगे की चेतावनी:
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आंदोलन अब आर-पार की लड़ाई होगी।
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आंदोलनकारियों पर दर्ज केस वापस लिए जाएँ।
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यदि कार्रवाई नहीं हुई तो इसे विश्वासघात माना जाएगा।
🚜 समुदाय से आह्वान:
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मनोज जरंगे ने माराठा समुदाय से कहा:“अगले 2 महीने में खेती-किसानी का काम निपटाएं”,फिर पूरी ताक़त से आंदोलन में जुटें।
🏛️ राजनीतिक असर:
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यह चेतावनी महाराष्ट्र सरकार के लिए गंभीर चुनौती बन सकती है।
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राज्य की राजनीति पर गहरा असर पड़ने की संभावना
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