बीएमसी का 30,000 करोड़ रुपये का सीवेज ट्रीटमेंट प्रोजेक्ट साल 2026 से शुरू होना है, लेकिन अब तक औसतन सिर्फ 36% निर्माण कार्य पूरा हो पाया है।
मुंबई, 23 जुलाई: मुंबई महानगरपालिका (BMC) की 30,000 करोड़ रुपये की महत्वाकांक्षी सीवेज ट्रीटमेंट परियोजना अपनी निर्धारित गति से बहुत पीछे चल रही है। 2022 में शुरू की गई इस परियोजना के तहत सात आधुनिक सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट्स (STPs) बनाए जा रहे हैं, लेकिन अब तक औसतन केवल 36% कार्य ही पूरा हो पाया है।
🏗️ निर्माणाधीन प्लांट्स और उनकी क्षमता:
परियोजना के तहत निर्माण किए जा रहे सात प्रमुख प्लांट्स निम्नलिखित स्थानों पर हैं:
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वर्ली: 500 MLD
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धारावी: 418 MLD
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बांद्रा: 360 MLD
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वर्सोवा: 180 MLD
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घाटकोपर: 337 MLD
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भांडुप: 215 MLD
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मलाड: 454 MLD
📊 अब तक की प्रगति:
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भांडुप प्लांट: सबसे आगे, 51% निर्माण पूरा
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मलाड प्लांट: सबसे धीमा, केवल 28% प्रगति
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अन्य स्थानों पर औसतन 30-45% काम
🗓️ संभावित पूरा होने की तिथि:
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घाटकोपर, भांडुप, वर्सोवा: 2026
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वर्ली, धारावी, बांद्रा: 2027
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मलाड: 2028
🌊 जल पुनर्चक्रण की योजना:
इन प्लांट्स को 100% पुनः उपयोग योग्य जल उत्पादन की क्षमता के साथ तैयार किया जा रहा है:
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50% पानी: टर्शियरी ट्रीटमेंट के बाद औद्योगिक और निर्माण कार्यों में
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50% पानी: सेकेंडरी ट्रीटमेंट के बाद जल निकायों में छोड़ा जाएगा
पेट्रोलियम, निर्माण और रासायनिक उद्योगों ने इस रिसाइकल वाटर में रुचि दिखाई है।
🌱 पर्यावरणीय प्रभाव:
परियोजना पूरी होने पर यह न केवल मुंबई की जल आपूर्ति पर दबाव कम करेगी, बल्कि पर्यावरणीय प्रदूषण को भी काफी हद तक घटाएगी।