पालघर जिले ने प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत 60,700 घरों का निर्माण कर राज्य में पहला स्थान हासिल किया।
पालघर, 25 जून : प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत पालघर जिले ने 60,700 से अधिक घरों का निर्माण लक्ष्य पूरा कर राज्य में पहला स्थान हासिल किया है। यह उपलब्धि जनशक्ति की कमी, निर्माण सामग्री की महंगाई और बेमौसम बारिश जैसी तमाम कठिनाइयों के बावजूद हासिल की गई है।
• योजना और सहायता
2017 में इस योजना के अंतर्गत पालघर को 60,783 घरों का लक्ष्य मिला था। सरकार प्रति घर ₹1.20 लाख की सहायता देती है, जिसमें से ₹15,000 नींव के लिए, ₹70,000 दीवार निर्माण के बाद, ₹30,000 छत डालने पर और ₹5,000 पूरा घर बन जाने पर दिए जाते हैं।
• अब तक की प्रगति.
– 53,970 घरों की नींव का काम पूरा
– 40,918 घरों का निर्माण लैंटिन स्तर तक पूरा
– 28,302 घरों का पूरा निर्माण हो चुका
– 5,000 घरों को अंतिम किस्त मिल चुकी
• चुनौतियां और प्रयास
हाल ही में बारिश, महंगे कच्चे माल और मजदूरों की कमी ने निर्माण में बाधा डाली है। फिर भी ग्रामीणों ने श्रमदान कर कार्य को आगे बढ़ाया। जिला प्रशासन ने बताया कि निर्माण कार्य को मानसून के बाद फिर शुरू किया जाएगा। सरकार अब प्रति घर ₹1.35 लाख और ₹15,000 सौर लाइट के लिए देने पर विचार कर रही है।
• एक साथ हजारों घरों का निर्माण
दहानू और मोखाडा तालुकों में एक ही समय में बड़ी संख्या में घरों का निर्माण हुआ। कुछ गांवों में 800 से ज़्यादा घर स्वीकृत हुए। इससे तकनीकी कर्मियों की कमी दिखी, जिससे जीपीएस फोटो और साइट अपडेट में देरी हुई।
• भविष्य की योजना
हालिया सर्वे के मुताबिक जिले में अभी भी 1 लाख से अधिक परिवार घर से वंचित हैं। अगले 5 वर्षों में इन्हें चरणबद्ध तरीके से मंजूरी दी जाएगी।
• अधिकारी का बयान
परियोजना अधिकारी डॉ. रूपाली सतपुते ने बताया कि जिले में ग्रामीण आवास अभियंताओं की संख्या बढ़ाई जा रही है और कार्य की गति और गुणवत्ता संतोषजनक है। पालघर जिला चरण II और III में राज्य में पहले स्थान पर है।
पालघर ने बाधाओं के बावजूद अपने लोगों के लिए सुरक्षित छत देने का सपना साकार किया है। यह उपलब्धि ग्रामीण विकास की दिशा में एक बड़ा कदम है।
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