Uddhav Thackeray विधान परिषद सदस्य पद से इस्तीफा नहीं देंगे
शिवसेना अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री Uddhav Thackeray विधान परिषद सदस्य पद से इस्तीफा नहीं देंगे। इस तरह की जानकारी शिवसेना सूत्रों ने दी है
Uddhav Thackeray 2019 में राज्य के मुख्यमंत्री बने थे। इसके बाद उन्हें छह माह के अंदर विधानसभा अथवा विधान परिषद का सदस्य बनाना संवैधानिक तरीके से जरूरी हो गया था। इसी वजह से Uddhav Thackeray विधानपरिषद सदस्य बने थे। राज्य में शिवसेना विधायकों की बगावत के बाद उद्धव ठाकरे ने मुख्यमंत्री पद तथा विधान परिषद के सदस्य पद का इस्तीफा राज्यपाल भगतसिंह कोश्यारी के पास भेज दिया था।
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राज्यपाल ने उस समय Uddhav Thackeray के मुख्यमंत्री पद का इस्तीफा मंजूर कर लिया था लेकिन विधानपरिषद का सदस्य पद से इस्तीफा स्वीकार करना राज्यपाल के कार्यक्षेत्र में नहीं था। विधान परिषद के सदस्य का इस्तीफा विधान परिषद के सभापति ही स्वीकृत करते हैं। इसी वजह उद्धव ठाकरे के विधानपरिषद के सदस्य पद का इस्तीफा मंजूर नहीं हो सका था।
बताया जा रहा है कि महाविकास आघाड़ी के सहयोगी दलों ने उद्धव ठाकरे को विधानपरिषद की सदस्यता से इस्तीफा न देने का सुझाव दिया है। महाविकास आघाड़ी के नेताओं का कहना है कि अगर उद्धव ठाकरे ने इस्तीफा दे दिया तो विधानपरिषद में महाविकास आघाड़ी के सदस्यों की संख्या घट जाएगी। बताया जा रहा है कि इसी वजह से उद्धव ठाकरे ने विधानपरिषद की सदस्यता से इस्तीफा न देने का निर्णय लिया है।